Prarabdh Dharm-Aadhyatm : आज का पंचांग एवं पर्व-त्योहार (24 अप्रैल, 2021)

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24 अप्रैल, दिन : शनिवार

विक्रम संवत : 2078 (गुजरात - 2077)

शक संवत् : 1943

अयन : उत्तरायण

ऋतु : ग्रीष्म

मास : चैत्र

पक्ष : शुक्ल

तिथि : द्वादशी शाम 07:17 तक तत्पश्चात त्रयोदशी

नक्षत्र : पूर्वाफाल्गुनी सुबह तक 06:22 तत्पश्चात उत्तराफाल्गुनी

योग :  ध्रुव सुबह 11:43 तक तत्पश्चात व्याघात

राहुकाल : सुबह 09:25 से दोपहर 11:01 तक

सूर्योदय : सुबह 06:13 बजे

सूर्यास्त : शाम 18:59 बजे

दिशाशूल : पूर्व दिशा में 

पंचक

4 मई रात्रि 8.41 बजे से 9 मई सायं 5.30 बजे तक

1 जून रात्रि 3.57 बजे से 5 जून रात्रि 11.27 बजे तक

28 जून प्रात: 12.57 बजे से 3 जुलाई प्रात: 6.15 बजे तक


एकादशी

07 मई, शुक्रवार वरुथिनी एकादशी
23 मई, रविवार मोहिनी एकादशी
06 जून, रविवार अपरा एकादशी
21 जून, सोमवार निर्जला एकादशी

प्रदोष

24 अप्रैल: शनि प्रदोष

08 मई: शनि प्रदोष

24 मई: सोम प्रदोष व्रत

07 जून: सोम प्रदोष व्रत

22 जून: भौम प्रदोष

अमावस्या

वैशाख अमावस्या- मंगलवार, 11 मई 2021

ज्येष्ठ अमावस्या- बृहस्पतिवार, 10 जून 2021

पूर्णिमा

26 अप्रैल, सोमवार: चैत्र पूर्णिमा

26 मई, बुधवार: बुद्ध पूर्णिमा

व्रत पर्व  

 वामन-मदन द्वादशी, विष्णुदमनोत्सव, शनिप्रदोष 

 विशेष - द्वादशी को पूतिका(पोई) अथवा त्रयोदशी को बैंगन नही खाना होता है।(ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
              

अंनग त्रयोदशी

25 अप्रैल 2021 रविवार को अंनग त्रयोदशी के दिन व्रत करने से दाम्पत्य - प्रेम में वृद्धि होती है तथा पति - पुत्रादि का अखंड सुख प्राप्त होता।

हनुमानजी प्रणाम मंत्र

27 अप्रैल 2021 मंगलवार को हनुमान जयंती है ।
मैं जब भी कभी हनुमानजी की मूर्ति के सामने खड़ा होता हूँ तो यही बोलता हूं 
सुमिरि पवनसुत पावन नाम , अपने वश करि राखे राम ।
हे हनुमानजी, आपने रामनाम का ऐसा तो सुमिरन किया कि रामजी को ही आपने अपने वश में कर लिया ।
आप भी कभी जाओ तो ये बोलना क्‍योंकि हनुमानजी को जप बहुत अच्‍छा लगता है । हनुमानजी के आगे कोई सिंदूर और चोला न चढ़ाये, नारियल न रखें तो हनुमानजी नाराज नहीं होंगे पर ये बोल दे कि हनुमानजी आपको भगवान का नाम कितना प्‍यारा लगता है ।
सुमिरि पवनसुत पावन नाम , अपने वश करि राखे राम । हनुमानजी राजी होंगे ।

 हनुमान जयंती - दीप दान महिमा

गेहूँ, तिल, उड़द, मूंग और चावल.. इन पाँचों के आटे से मिलाकर दिया बनाया जाये और वो जलाकर हनुमानजी के नाम से मंदिर में, पीपल या बड के पेड़ या घर में ही रखा जाये तो बड़ा शुभ माना जाता है |
इससे मनोरथो की सिद्धि होती है|

भक्ति बढ़ाने की भावना से हनुमानजी की राम भक्ति सच्ची है तो मेरी भी मेरे अराध्य के चरणों में, मेरे सद्गुरु के चरणों में मेरी भक्ति सच्ची हो, दृढ हो | मेरा जीवन उपासनामय हो | मैं इच्छानिवृति का रास्ता कभी न छोडू, मैं गुरु की उपासना का रास्ता कभी न छोडू | मेरी भक्ति में दृढ़ता है इसलिए हनुमानजी की जयंती को हनुमान के नाम से पाँच अन्न का आटा मिलाकर अगर दीपक बनाया जाये और हनुमानजी के नाम से जलाया जाय तो बड़ा शुभ माना जाता है | सरसों का तेल के और घी का भी दिया कर सकते हैं |

27 अप्रैल 2021 मंगलवार को हनुमान जयंती है ।

वैशाख अमावस्या- मंगलवार, 11 मई 2021

ज्येष्ठ अमावस्या- बृहस्पतिवार, 10 जून 2021

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